मुंगेर में दुर्गा प्रतिमा के विसर्जन जुलूस के दौरान 26 अक्टूबर की रात फायरिंग में एक व्यक्ति की मौत के मामले में बिहार पुलिस की चूक का खुलासा हुआ है। बिहार पुलिस का दावा था कि उपद्रव कर रहे लोगों ने फायरिंग की थी और उपद्रवियों की गोली से एक की मौत हुई थी। हालांकि, CISF की इंटरनल रिपोर्ट के मुताबिक, फायरिंग की शुरुआत मुंगेर पुलिस ने की थी। इनमें पूरे मामले को सम्भालने के दौरान पुलिस से हुई भारी चूक की ओर इशारा किया गया है। यह भी साफ हुआ है कि उपद्रव के दौरान युवक की मौत पुलिस की फायरिंग से हुई थी। गौरतलब है कि इस मामले में पूर्व एसपी लिपि सिंह ने दावा किया था कि उपद्रव कर रहे लोगों की ही गोली से युवक की जान गई थी।
सीआईएसएफ की रिपोर्ट के मुताबिक 26 अक्तूबर की रात 11:20 बजे CISF के 20 जवानों की टुकड़ी मूर्ति विसर्जन के दौरान सुरक्षा ड्यूटी के लिए जिला स्कूल स्थित कैंप से गई थी। बिहार पुलिस के मार्गदर्शन में इन 20 जवानों को 10-10 की दो टुकड़ी में बांट दिया गया। एक टुकड़ी को एसएसबी और बिहार पुलिस के जवानों के साथ दीनदयाल उपाध्याय चौक पर तैनात किया गया था। रात 11:45 बजे श्रद्धालुओं और स्थानीय पुलिस के बीच विवाद होने लगा। देखते ही देखते माहौल काफी गर्म हो गया। वहां पुलिस और सुरक्षाबलों पर पथराव होने लगा। इसके बाद पुलिस ने हवाई फायरिंग की। इस पर भीड़ और भड़क गई और तेजी से पत्थरबाजी करने लगी।
उधर, मुंगेर गोलीकांड को लेकर गुरुवार को भड़की भीड़ ने एसपी और एसडीओ कार्यालय में जमकर तोड़फोड़ की थी। इस दौरान कई सरकारी गाडि़यों को आग के हवाले कर दिया गया था। गुरुवार के उपद्रव के बाद निर्वाचन आयोग ने डीएम राजेश मीणा और एसपी लिपि सिंह को हटा दिया था। उनकी जगह डीएम रचना पाटिल और एसपी मानवजीत सिंह ढिल्लों को तैनात किया गया है। दोनों अधिकारियों ने कार्यभार ग्रहण कर लिया है। मुंगेर में फिलहाल शांति है।
बिहार और देश-दुनिया की ताजा अपडेट के लिए join करें DTW 24 NEWS UPDATE Whatsapp Group:- https://chat.whatsapp.com/E0WP7QEawBc15hcHfHFruf
Support Free Journalism:-https://dtw24news.in/dtw-24-news-ka-hissa-bane-or-support-kare-free-journalism